Photographic Memory क्या है? | What is Photographic Memory in Hindi

Photographic Memory क्या है? | What is Photographic Memory in Hindi

नमस्ते मेरे भाइयों और बहनों आप सभी का स्वागत है हमारे नॉलेज ग्रो हिन्दी ब्लॉग में। दोस्तो आज का यह आर्टिकल आप सब केलिए बहुत ही स्पैशल और लाइफ चेंजिंग होने वाला है। क्योंकि दोस्तो आज के इस आर्टिकल में आपको Photographic Memory क्या है? इस के बारे में पूरी जानकारी देने वाला हूं। दोस्तों इस आर्टिकल को आखिर तक जरूर पढ़िए और जानिए कि Photographic Memory क्या है और इस मेमरी को हासिल करने से इंसान को क्या क्या फायदे होते हैं।

Photographic Memory क्या है? | What is Photographic Memory in Hindi
Photographic Memory क्या है? | What is Photographic Memory in Hindi

Photographic Memory क्या है? | What is Photographic Memory in Hindi

दोस्तो आपने कभी ना कभी स्वामी विवेकानन्द और उनके जिनियस मेमरी के बारे में कभी ना कभी जरूर सुना होगा ना। तो आप अब कहोगे कि उनके जीनियस मेमरी के बारे में सुना है और पढ़ा भी है लेकिन Photographic Memory क्या है? यह पता नहीं है। दोस्तो इस पर में आपको बताना चाहूंगा कि जो लोग जिनियस होते हैं, जैसे कि स्वामी विवेकानन्द जी उन लोगों ने Photographic memory को हासिल किया हुआ होता है।

दोस्तो Photographic memory एक ऐसी रियर टाइप कि मेमरी होती है, जो लोग भी इस मेमरी को हासिल करते हैं, उन्ह लोगों के मात्र एक बार पढ़ने से ही पूरी किताब कार्बन कॉपी कि तरह उनके ब्रेन (दिमाग) में छप जाती है। दोस्तो किसी भी चीज को केवल एक बार देख लेने से ही उस चीज का फोटो उनके दिमाग में हमेशा के लिए सेव हो जाता है, यानी कि अनब्रेकेबल मेमरी जैसे कि स्वामी विवेकानन्द जी, निकोला टेस्ला, स्टीव जॉब्स जैसे लोग…

दोस्तों स्वामी विवेकानन्द जी और निकोला टेस्ला कि जीवनी पढ़ते समय मुझे फोटोग्राफिक मेमरी जिसे Eidetic Memory भी कहा जाता है, उसके बारे में पता चला। और इसके बाद से मैंने Photographic memory के बारे में इंटरनेट पर बहुत रिसर्च किया और इसके बारे में बहुत सी बुक्स पढ़ी सिर्फ यह जानने के लिए आखिर Photographic Memory क्या है? जो इंसान के दिमाग को इतना जीनियस बनाती है?

दोस्तो यह आर्टिकल भी उसी नॉलेज का रिप्रेसिडेंट है और इस आर्टिकल में दिए हुई एक एक जानकारी आपके बहुत काम आ सकती है और इसीलिए इस रहस्यमई आर्टिकल को ध्यान पूर्वक जरूर पढ़े…

दोस्तो फर्स्ट पॉइंट जो में आपको बताना जा रहा हूं और वो है ojas Accumulation जिसे वेस्टन वर्ड्स में “sem-e-n retention” भी कहा जाता है। दोस्तो पहले हमारे देश में एक प्रथा थी जिसे गुरुकुल प्रथा कहते हैं, जिसमे एक बच्चा जैसे ही 13 साल का हो जाता था तब उसके बाद उसे पढ़ने के लिए गुरुकुल में अध्ययन करने केलिए भेजा जाता था और जब तक वो 25 साल का हो जाता था तब तक वो गुरुकुल में ही रहता था।

दोस्तो इसका साइंटिफिक रीसन यह है कि जब एक लड़का १३ साल का हो जाता है, तब उसके बॉडी में सि_मे_न बनना शुरू हो जाता है, जिसे आयुर्वेद में वी_र्य भी कहा जाता हैं। दोस्तो जब हम पच्चीस साल के हो जाते हैं तब तक हमारा Prefrontal Cortex यानी कि हमारे दिमाग का अगला हिस्सा जो हमे इंटेलीजेंट और जिनियस बनाता है वो पूरी तरह से डेवलप हो जाता है।

इसीलिए सभी लड़कों के लिए 25 साल तक ब्रह्मचर्य अनिवार्य हुआ करता था, लेकिन दोस्तो आज कि जेनरेशन यह सब भूल चुकी है और वा-स-ना के पीछे लगी हुई है। इसी के वजह से हमारे भारत देश में से.क्सु_अल क्रा_इम या किसी भी तरह क्राइम्स जो घट रहे हैं उसका मैन रीज़न यह है कि ब्रह्मचर्य का पालन न करना और वी_र्य नाश करते रहना।

दोस्तो अब आप कहेंगे कि वी_र्य नाश करने से क्या होगा?

दोस्तो मे आपको बताना चाहूंगा कि वी_र्य नाश करने से हमारे दिमाग का अगला हिस्सा जिसे Prefrontal Cortex कहते हैं, उसका विकास पूरी तरह से नहीं होता है और उस इंसान को बहुत सारी मानसिक और शारीरिक परीशानियो का सामना करना पड़ता है। हमने Prefrontal-Cortex के उपर एक लाइफ सविंग आर्टिकल लिखा हुआ है उस आर्टिकल में हमने Prefrontal Cortex के बारे में सबकुछ डिटेल्स में बताया गया है। इसके बाद में उसे जरूर पढ़िए।

दोस्तो अब आपको से_क्सु_अल एनर्जी और ब्रेन डेवलपमेंट के बीच कि लिंक समझ आने लगी होगी। दोस्तो इसके पहले में आपको यह बताऊ की यह कैसे काम करती हैं उससे पहले में आपको यह बताना चाहूंगा कि दुनिया भर के जीनियस लोग इसके बारे में क्या कहते हैं…

Swami Vivekanand : –

दोस्तों स्वामी जी बोलते हैं कि हमारे दिमाग में आया हुआ सिर्फ एक से_क्स के विचार से हमारा 8 दिनों का ojas यानी की इंटेलिजेंस नष्ट हो जाती है और सिर्फ एक बार से_क्सु_अल ऐक्टिविटी में इन्वोल होने से यानी की शारी_रिक संबंध बनाने से हमारा 45 दिनों का बना हुआ ojas नष्ट हो जाता है।

दोस्तो इसी बात को आगे बढ़ाते हुए स्वामी जी बोलते हैं कि इंसान के शरीर में इदा, पिंगला और शुष्मना यह तीन महत्वपूर्ण नाडिया होती है, जिनके माध्यम से एनर्जी हमारे शरीर में फ्लो करती है। दोस्तो एक ऑर्डेनरी इंसान के शरीर में सिर्फ इदा और पिंगला नाड़ी ही एक्टिवेट होती है, लेकिन ब्रह्मचर्य और स्पिरिचुअल प्रैक्टिस से हमारी शुष्मना नाड़ी भी एक्टिवेट हो जाती है।

दोस्तो शुष्मना नाडी से एनर्जी हर एक कुंडलिनी चक्र को खोलते हुए उपर कि तरफ बेहना शुरू करती है और लगभग 12 साल के ब्रम्हचर्य के बाद हमारे शरीर में मेधा नाड़ी है, जिसे नर्व ऑफ मेमरी भी कहा जाता है वो एक्टिवेट हो जाती है। मेधा नाड़ी एक्टिवेट होने के बाद उस इंसान का दिमाग इतना शार्प और इंटेलिजेंस हो जाता है, जिससे दुनिया में ऐसा कोई भी चीज और कोई भी गोल नहीं है जो वो इंसान हासिल ना कर सके।

दोस्तो ऐसे लोग धरती पर बहुत जन्म ले चुके है जिन्होंने अपनी मेधा नाड़ी को एक्टिवेट करके बहुत बड़े बड़े काम किए हैं। जैसे कि स्वामी विवेकानन्द, निकोला टेस्ला, स्टीव जॉब्स, भीष्म पितामह, राममूर्ति, गामा पैलवान इत्यादि… दोस्तो इन लोंगों को सरल शब्दों में जीनियस भी कहा जाता हैं। दोस्तो ऐसा नहीं है कि साधारण मनुष्य मेधा नाड़ी को एक्टिवेट नहीं कर सकता।

दोस्तो मैंने जो उपर जिन जिन लोगों के नाम बताए वो भी हमारी तरह एक साधारण मनुष्य थे, लेकिन उन्होंने ब्रह्मचर्य और स्पिरिचुअल प्रैक्टिस से अपने कुंडलिनी शक्ति को एक्टिवेट किया था। अब आप कहोगे की स्टीव जॉब्स तो एक संसारी लोग थे और उन्होंने भी शादी कि हुई थी तो उन्होंने कैसे किया?

तो में आपको बताना चाहूंगा कि स्टीव जॉब्स जैसे लोग एक बड़े विचार रखने वाले महान लोगों में से एक थे और उनको सिर्फ अपने काम से प्यार था वो दिन रात सिर्फ काम करते रहते थे इसी के वजह से उनका ब्रह्मचर्य अपने आप हो जाता था। स्टीव जॉब्स ने अपने से_क्सु_अल एनर्जी के इंपोर्टेंस को समझते हुए उसे वेस्ट करने के बजाय इसे बड़े बड़े काम करने में लगाया इसी कि वजह से वो एप्पल जैसी बड़ी कंपनी खड़ी कर पाए।

दोस्तो मे आपको बड़े बड़े लोगों कि एक लिस्ट कि लिंक नीचे देता हूं जिन्होंने अपने सेक्सुअल एनर्जी कि इंपोर्टेंस को समझते हुए उसे वेस्ट करने के बजाय इसे बड़े बड़े काम करने में लगाया है।

दोस्तो अब में आपको इस सेक्सुअल एनर्जी का साइंटिफिक रीज़न बताता हूं कि यह कैसे काम करती है? सबसे पहले में आपको फूड डाइजेशन प्रोसेस के बारे में बताता हूं।

दोस्तो भोजन के पाचन के बाद रस बनता है और रस के पाचन के बाद रक्त (ब्लड) बनता है, और यह 5 दिनों के बाद बनाता है। इस तरह, 5 दिनों के अंतराल में, रक्त से मांस , मांस से मेद , मेद से हड्डी , हड्डी से मज्जा , मज्जा से वीर्य बनता है जो वी_र्य बनने का अंतिम चरण है।

दोस्तो इस प्रोसेस को पूरा होने में 30 दिन और 4 घंटे लगते है, और उस 30 दिनों के बाद अगर सी_मे_न शरीर से बाहर नहीं निकलता है, तो अगले तीन हप्तो तक सी_मेन शरीर में ही रहता है और उसके बाद होता है, वी_र्य का ऊर्ध्वगमन इसे इंग्लिश में सी_मे_न रिटेंशन भी कहा जाता है।

सी_मे_न रिटेंशन क्या है?

दोस्तों सी_मे_न रिटेंशन का अर्थ यह नहीं कि वी_र्य स्थूल रूप से उपर सहसार चक्र की और जाता है। इस विषय में कई लोग भ्रमित हो जाते है, वी_र्य तो वहीं रेहता है लेकिन उसे संचालित करने वाली जो कामशक्ति है, उसका ऊर्ध्वगमन होता है।

दोस्तों वी_र्य को उपर चढ़ाने के लिए शरीर के अंदर कोई नाडी नहीं हैं। इसीलिए शु_क्रा_णु (वी_र्य) उपर नहीं जाते, बल्कि हमारे अंदर एक वैधुतिक शक्ति यानी की एक चुंबकीय शक्ति होती है जो नीचे की और बेहती रहती है, तब शु_क्रा_णु सक्रिय होते हैं।

दोस्तो इसीलिए पुरुष की दृष्टि जब भड़कीली वस्त्र पर पढ़ती हैं या उसका मन स्त्री का चिंतन करता है, तब यही शक्ति उसके चिंतन मात्र से नीचे मूलाधार केंद्र के नीचे जो का_मकेंद्र है, उसको सक्रिय करके, वी_र्य को शरीर से भाहर धकेलती है। दोस्तो पुरुष का वी_र्य जब स्खलित होता है तब उसके जीवन की काम_शक्ति व्यर्थ में खर्च हो जाती है।

दोस्तो अगर आपको सी_मे_न रिटेंशन के बारे में अधिक जानना चाहते हैं तो आप दिव्य प्रेरणा प्रकाश किताब को एक बार जरुर पढ़िए। दोस्तो दिव्य प्रेरणा प्रकाश किताब कि हिन्दी समरी और हिन्दी पीडीएफ फाइल हमारे साइट पर मौजूद है।

जरूर पढ़िए : दिव्य प्रेरणा प्रकाश बुक समरी इन हिंदी

दोस्तो मैं अब आपको अगला पॉइंट बताने वाला हूं और वो है Nature of Mind।

दोस्तो Nature of Mind में आपको यह बताने वाला हूं कि इंसान के माइंड कितने प्रकार के होते हैं। दोस्तो कंसंट्रेशन के आधार पर इंसान के 3 प्रकार के माइंड होते हैं।

  1. Monkey Mind
  2. Concentrated Mind
  3. Blessed Mind

Monkey 🐒 Mind :

दोस्तो दुनिया में 92 to 95% लोगों का दिमाग इसी कैटेगरी में आता है। दोस्तो आप Monkey🐒 Mind नाम से ही समझ गए होंगे कि एक बंदर कभी शांति से नहीं बैठ सकता है। ऐसे ही monkey Mind कैटेगरी के लोग, Monkey Mind में एक विचार के बाद दूसरा विचार, कभी यहां तो कभी आसमान में, कभी ये विचार तो कभी वो।

दोस्तो एक स्टडी के अनुसार एक सामान्य इंसान के दिमाग में आने वाली 90% थॉट्स यूजलेस और बेकार की होती है। तो दोस्तो आप खुद सोचो कि इतने सारे बेकार और यूजलेस विचारों के साथ कोई इंसान कैसे जीनियस हो सकता है?

दोस्तो अच्छी न्यूज यह है कि Monkey Mind को Concentrated Mind में बदला जा सकता है।

Concentrated Mind : –

दोस्तों Concentrated Mind का नेचर ऐसा होता है कि वो फ्लो में वर्क करता है। दोस्तो अगर Concentrated Mind वाले इंसान का दिमाग अगर किसी चीज में लग जाए तो समझो लग गया यानी कि वो इंसान काम को 100% पूरा करके ही उठेगा। फिर उसके दिमाग में कोई फालतू और बेकार के विचार नहीं आएंगे। दोस्तो ऐसे दिमाग वाले लोग घंटो तक बिना रुके काम कर सकते हैं।

Blessed Mind : –

दोस्तों Concentrated Mind से भी ज्यादा पावरफुल होता है Blessed Mind, दोस्तो आप इसके नाम से समझ गए होंगे कि ऐसा दिमाग दुनिया में सिर्फ घिने चुने लोगों के पास ही होता है और ऐसे लोगों का अपने दिमाग पर पूरा कंट्रोल होता है। ज्यादातर ऐसे लोग thoughtless स्टेज पर होते हैं, ऐसे लोग जब कोई काम शुरू करते हैं तब उस काम को उनको दुबारा करने की जरूरत नहीं पड़ती है।

दोस्तो मे आपको एक उदाहरण से समझाता हूं.

Blessed Mind वाले व्यक्ति ने अगर कोई भी किताब को एक बार पढ़ लिया तो उस किताब को उन्हें दुबारा पढ़ने कि जरूरत नहीं पड़ती है। वह किताब उनको पेज नंबर सहित याद रहती है। किस पेज पर क्या लिखा था यह सब उनके दिमाग में एक इमेज (फोटो) की तरह सेव रहता है, इसीलिए Blessed Mind को फोटोग्राफिक मेमरी भी कहा जाता है।

दोस्तो महर्षी पतंजलि अष्ठांग योग सूत्रों को अगर कोई व्यक्ति अनुशासन के साथ पालन करता है तो वो व्यक्ति Blessed Mind stage तक पहुंच सकता है। दोस्तो अष्ठांग योग सूत्र मैंने एक पिक्चर में बताए हुआ हैं।

दोस्तो अगर आपको पतंजलि अष्ठांग योग सूत्रों के उपर एक लाइफ सेविंग आर्टिकल चाहिए तो नीचे दिए हुए Comment Box कमेंट करके हमें जरुर बताए…

हमारे अन्य आर्टिकल्स :

  1. मेडिटेशन क्या है और मेडिटेशन कैसे करे?
  2. Top 35 Life Changing Brahmacharya Quotes in Hindi
  3. मेडिटेशन के 100 फायदे जानिए हिंदी में
  4. थिंक एंड ग्रो रिच बुक समरी हिन्दी में

Conclusion : –

दोस्तों आज आपने इस लाइफ सेविंग आर्टिकल के माध्यम से आपने यह सीखा कि फोटोग्राफिक मेमरी क्या है और सी_मेन रिटेंशन क्या है और उसके फायदे क्या है? दोस्तो हमारे लिखा हुआ Photographic Memory क्या है? आर्टिकल अगर आपको पसंद आया होगा और आपके लिए उपयोगी साबित हुआ होगा, तो इस आर्टिकल को अपने दोस्तो के साथ फेसबुक और व्हाट्सएप जैसे सोशल मीडिया साइट्स पर जरूर शेयर कीजिए।

दोस्तो जो लोग इस ब्लॉग पर पहली बार आए हुए हैं, उनको मैं बताना चाहूंगा कि में हर रोज इस ब्लॉग पर आप सभी केलिए सफल और कामयाब लोगों की जीवनी और उनके द्वारा लिखी गई लाईफ चेंजिंग किताबों की हिंदी समरी पब्लिश करता रहता हूं। इसीलिए आप हमारे ब्लॉग को नीचे दिए हुए घंटी के आइकॉन पर क्लिक करके subscribe जरुर किजिए। जिससे हमारे हमारे ब्लॉग पर नया आर्टिकल पब्लिश होते ही सबसे पहले आपको notification मिलती रहें।

दोस्तो फिर मिलेंगे ऐसे ही एक इंटरेस्टिंग और लाइफ चेंजिंग आर्टिकल के साथ तब तक केलिए जहा भी खुश रहो..

आपका बहुमूल्य समय देने केलिए धन्यवाद।

अपने दोस्तों के साथ शेयर करें

2 thoughts on “Photographic Memory क्या है? | What is Photographic Memory in Hindi”

Leave a Comment

Stories
Summaries
Home
Quotes
Biographies